पुणे न्यूज डेस्क: पुणे में पोर्श कार दुर्घटना के मामले में खून के सैंपल की अदला-बदली के आरोप में पुणे क्राइम ब्रांच ने सोमवार रात दो और लोगों को गिरफ्तार किया। नाबालिग आरोपी का सैंपल उसकी मां के सैंपल से बदलने के बाद शिवानी अग्रवाल को गिरफ्तार किया गया था। दुर्घटना की रात नाबालिग के साथ दो और दोस्त कार में थे, जिनके खून के सैंपल भी बदले गए थे। एक सैंपल उसके पिता के साथ और दूसरा किसी और के साथ बदला गया। पुलिस ने दोनों व्यक्तियों को गिरफ्तार कर लिया है, इसकी पुष्टि सीपी अमितेश कुमार ने की है।
ससून हॉस्पिटल के फॉरेंसिक डिपार्टमेंट के प्रमुख डॉ. अजय टावरे ने बताया कि डॉ. हलनोरे और ससून अस्पताल के कर्मचारी अतुल घाटकांबले ने खून के सैंपल बदलने में संलिप्तता दिखाई। पुलिस ने पहले ही इन तीनों को गिरफ्तार कर लिया है, और इस मामले की चार्जशीट 900 पन्नों की प्रस्तुत की गई है।
शैलेश बलकवड़े, अतिरिक्त पुलिस आयुक्त, ने जानकारी दी कि पुणे की कोर्ट में सात आरोपियों के खिलाफ 900 पेज का आरोपपत्र दायर किया गया है। इसमें नाबालिग के माता-पिता, ससून जनरल अस्पताल के दो डॉक्टर, एक कर्मचारी और दो बिचौलिए शामिल हैं। इस चार्जशीट में 50 गवाहों के बयान और दुर्घटना प्रभाव विश्लेषण रिपोर्ट, तकनीकी सबूत, फोरेंसिक प्रयोगशाला और डीएनए रिपोर्ट भी शामिल हैं।
दुर्घटना प्रभाव विश्लेषण रिपोर्ट पुलिस द्वारा फोरेंसिक विशेषज्ञ की सहायता से तैयार की गई। इस रिपोर्ट का मुख्य उद्देश्य पोर्श कार के मोटरसाइकिल पर प्रभाव को समझना और मृतक आईटी पेशेवरों की चोटों के साथ इसके संबंध को स्पष्ट करना है।