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PNB का ₹425 करोड़ लोन फ्रॉड: ED की छापेमारी से हड़कंप

Photo Source : Google

Posted On:Tuesday, September 2, 2025

पुणे न्यूज डेस्क: PNB लोन फ्रॉड का एक और बड़ा मामला सामने आया है, जिसने वित्तीय हलकों में चिंता बढ़ा दी है। प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने दिल्ली और पुणे में 10 ठिकानों पर छापेमारी की है। यह कार्रवाई गुप्ता एक्सिम इंडिया प्राइवेट लिमिटेड और इसके प्रमोटर्स के खिलाफ हुई है। आरोप है कि ओरिएंटल बैंक ऑफ कॉमर्स (जो बाद में PNB में मर्ज हुआ) से लिए गए ₹425 करोड़ के लोन का गलत इस्तेमाल किया गया और रकम को संबंधित कंपनियों में डायवर्ट कर दिया गया। यह जनता के पैसों से जुड़े बैंकों की विश्वसनीयता पर सीधा असर डालता है।

जांच में सामने आया है कि Gupta Exim India Private Limited (GEIPL) और उसके डायरेक्टर्स ने बैंक से लिए गए कर्ज को बिज़नेस विस्तार या फैक्ट्री सेटअप में लगाने की बजाय अपनी अन्य संस्थाओं में घुमा-फिराकर डाल दिया। इस रकम को शेल कंपनियों के जरिए नकली इनवॉइस और फर्जी बिलिंग से बाहर निकाल लिया गया। आरोप है कि यही पूरा पैटर्न इस फ्रॉड का आधार बना।

इस केस में सबसे पहले CBI ने FIR दर्ज की थी। उसके बाद ED ने मामले को मनी लॉन्ड्रिंग के एंगल से जांचना शुरू किया। अब एजेंसी यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि पैसे की असली ट्रेल आखिरकार किसके पास जाकर खत्म हुई। यानी लोन की राशि कहां और किसके फायदे के लिए इस्तेमाल की गई।

ऐसे मामलों में एजेंसियों की जांच का पहला फोकस यह होता है कि लोन की मंजूरी किन शर्तों पर हुई और डॉक्यूमेंटेशन कितना सही था। इसके बाद यह देखा जाता है कि ट्रांजैक्शन किन खातों में गया, संबंधित कंपनियों की भूमिका क्या रही और डायरेक्टर्स व प्रमोटर्स की जिम्मेदारी कितनी बनती है। यह पूरा मामला पब्लिक सेक्टर बैंकों में पारदर्शिता और जवाबदेही पर गंभीर सवाल खड़ा करता है।


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